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देश में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या आठ लाख के करीब, पांच लाख के करीब ठीक हुए 

देश में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या आठ लाख के करीब, पांच लाख के करीब ठीक हुए 

नई दिल्ली । बुधवार को 22,507 नए संक्रमित मिलने के साथ ही देश में कोरोनावायरस से पीड़ित लोगों की संख्या बढ़कर 7,91,559 हो गई। इनमें से 4,94,186 ठीक हो चुके हैं जबकि 21,598 की मौत हो गई है।
महाराष्ट्र में बुधवार को 6,875 नए संक्रमित मिलने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 2,30,599 हो गई। जिनमें से 1,27,259 ठीक हो चुके हैं, इस प्रकार महाराष्ट्र में रिकवरी रेट 54% के करीब है। यहां 9,667 लोगों की इस बीमारी से मौत हो चुकी है।
तमिलनाडु में 4,231 नए संक्रमित मिलने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 1,26,581 हो गई, जिनमें से 78,161 ठीक हो चुके हैं, जबकि 1,765 की मौत हो गई है।
दिल्ली में बुधवार को फिर 2,187 नए संक्रमित मिलने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 1,07,051 हो गई। यहां अब तक 3,258 लोगों की मौत हो गई है जबकि 82,226 ठीक हो गए हैं।
गुजरात में  861 नए संक्रमित मिलने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 39,280 हो गई जिनमें से 2,009 की मौत हो चुकी है जबकि 27,742 ठीक हो चुके हैं। उत्तरप्रदेश में भी कोरोना संक्रमण के 1,206 नए मामले सामने आने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 32,362 हो गई जिनमें से 21,127 ठीक हो चुके हैं जबकि 862 की मौत हो चुकी है।
तेलंगाना में 1,410 नए मरीज मिलने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 20,946 हो गई जिनमें से 18,192 ठीक हो चुके हैं जबकि 331 की मौत हो चुकी है।
दक्षिण के एक अन्य राज्य कर्नाटक में बुधवार  को 2,228 नए मरीज मिलने के साथ पीड़ितों की संख्या बढ़कर 31,305 हो गई जिनमें से 12,835 ठीक हो चुके हैं जबकि 488 की मौत हो चुकी है।
बुशवार को पश्चिम बंगाल में 1,088, राजस्थान में 500, आंध्रप्रदेश में 1,555, हरियाणा में 674, मध्यप्रदेश में 305, बिहार में 704, ओडिशा में 577, जम्मू और कश्मीर में 240, पंजाब में 233, केरल में 339, छत्तीसगढ़ में 153, गोवा में 112नए मरीज मिले। दक्षिणी राज्यों में बड़ी संख्या में मरीजों का मिलना चिंता का विषय बनता जा रहा है। कई राज्यों ने लॉकडाउन को सख्त कर दिया है कई जगह कर्फ्यू भी लगाया गया है।
देश में इस समय 2,59,046 सक्रिय मामले हैं। सक्रिय मरीजों की संख्या 5 लाख से ऊपर पहुंचने पर देश के समक्ष स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर भारी चुनौती उपस्थित हो सकती है। गंभीर मरीजों की संख्या में भी लगातार इजाफा हो रहा है और वेंटिलेटर जैसी सुविधाओं को लेकर अब चिंता जताई जा रही है।
महाराष्ट्र में छूट का दायरा बढ़ाते हुए होटल और रेस्तरां को खोलने की इजाजत दे दी गई है इसके बाद तादाद बढ़ने की आशंका है। सरकार के सूत्रों का कहना है कि आर्थिक हालात को देखते हुए अब लॉकडाउन को और अधिक नहीं बढ़ाया जा सकता इसलिए मौजूदा परिस्थितियों में ही कोरोनावायरस से निपटना होगा। अभी तक ना तो दुनिया के किसी कोने में इस वायरस के खिलाफ किसी प्रभावी दवा का अविष्कार हुआ है और ना ही कोई वैक्सीन खोजा जा सका है। ऐसे में यह कहना मुश्किल है कि इस वायरस का पीक कब आएगा और नए संक्रमित मिलने की संख्या में कमी कब आएगी। देश में कंटेनमेंट इलाकों में वृद्धि और रेड जोन की संख्या में इजाफा आम नागरिकों के लिए परेशानी का सबब बनता जा रहा है। रेल सेवा बहुत सीमित है और वायु सेवाएं भी पूरी क्षमता से नहीं चल रही हैं। इस कारण राष्ट्रीय स्तर पर मोबिलिटी तो कम है लेकिन शहरों के भीतर लोग बड़ी तादाद में घर से बाहर निकल रहे हैं जिससे संक्रमण तेजी से फैलने लगा है।
 

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