
वॉशिंगटन । अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव प्रक्रिया पूरी होने के बाद इलेक्टोरल कॉलेज ने उनकी विजय की आधिकारिक घोषणा कर दी है। जो बाइडेन को देश का अगला राष्ट्रपति चुन लिया गया। जो बाइडेन को कुल 306 वोट मिले और उन्हें जोरदार बहुमत मिला है। इसके साथ ही अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में जो बाइडेन के जीत और निवर्तमान राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के हार की अब पुष्टि हो गई है। इस साल हर राज्य के वोटों की गणना महत्वपूर्ण हो गई थी क्योंकि ट्रंप ने अपनी हार को स्वीकार करने से इनकार कर दिया था। इलेक्टोरल कॉलेज की बैठक को देखते हुए अमेरिका के कुछ राज्यों में कड़े सुरक्षा इंतजाम किए गए थे। इलेक्टर्स ने पेपर बैलट के जरिए वोट दिए। इस दौरान उन्होंने मास्क पहन रखा था और सोशल डिस्टेंसिंग समेत कोरोना से बचाव के उपायों का पालन किया। इलेक्टोरल कॉलेज के परिणामों को वॉशिंगटन भेजा जाएगा और 6 जनवरी को कांग्रेस की बैठक में इसे मिलाया जाएगा जिसकी अध्यक्षता उप राष्ट्रपति माइक पेंस करेंगे। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के धोखाधड़ी के तमाम दावों के बावजूद इस बात को लेकर बहुत कम संदेह था कि जो बाइडेन को जीत नहीं मिलेगी। इस चुनाव में ट्रंप को मात्र 232 इलेक्टोरल वोट मिले। पॉप्युलर वोटों में भी डेमोक्रेटिक पार्टी के नेता को देशभर में ट्रंप से ज्यादा वोट मिले। कैलिफोर्निया से बाइडेन को सबसे ज्यादा 55 इलेक्टोरल वोट मिले। बाइडेन ने शाम को अपने भाषण में कहा कि अमेरिका के अस्मिता की इस जंग में लोकतंत्र की जीत हुई है।
इलेक्टोरल कॉलेज की बैठक से ठीक पहले अमेरिका में हुए राष्ट्रपति चुनाव के नतीजों को पलटने की मौजूदा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की कोशिशों के समर्थन में हजारों लोगों अमेरिका की सड़कों पर उतरे थे। सबसे बड़ा प्रदर्शन राजधानी वॉशिंगटन डीसी में देखने को मिला, जबकि कई अन्य शहरों में भी बड़ी संख्या में लोगों ने प्रदर्शनों में हिस्सा लिया। इससे पहले अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने रिपब्लिकन की उन याचिकाओं को खारिज कर दिया था, जिसमें जो बाइडेन के जीत को पलटने की मांग की गई थी। ट्रंप समर्थक और विरोधी प्रदर्शनकारियों के बीच शनिवार शाम को कई जगह भिड़ंत भी हुई। रिपोर्ट के अनुसार, इन झड़पों में चाकू लगने से घायल हुए चार लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। मेट्रोपोलिटन पुलिस विभाग ने बताया कि 23 लोगों को हिंसा के मामले में गिरफ्तार किया गया है। इन रैलियों में ट्रंप के अधिकतर समर्थकों ने मास्क नहीं पहना था।