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आंध्र को विशेष दर्जा दिलाने भूख हड़ताल पर बैठे नायडू - राहुल का भी मिला साथ

आंध्र को विशेष दर्जा दिलाने भूख हड़ताल पर बैठे नायडू - राहुल का भी मिला साथ

तेगलुदेशम पार्टी (टीडीपी) के प्रमुख और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने आंध्रप्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग को लेकर दिल्ली के आंध्र भवन में अपना एक दिन का भूख हड़ताल शुरू कर दिया है। नायडू ने सबसे पहले  सोमवार की सुबह राजघाट जाकर महात्मा गाधी  की समाधि को श्रद्धांजलि दी और फिर आंध्र भवन में अपना एक दिनी उपवास शुरू किया। इस बीच कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी भी इस मुद्दे पर टीडीपी प्रमुख  नायडू के प्रति समर्थन दिखाने हेतु  आंध्र भवन जाकर उनसे मुलाकात किया।  इस बीच आंध्र भवन में पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए टीडीपी प्रमुख चंद्रबाबू नायडू ने कहा, 'आज हम केंद्र सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने यहां आए हैं। धरने से एक दिन पहले प्रधानमंत्री आंध्रप्रदेश के गुंटूर आए थे। मैं पूछना चाहता हूं कि इसकी जरूरत क्या थी।'  नायडू की  सुबह 8 बजे से शुरू हुई उनकी भूख हड़ताल रात 8 बजे तक चलेगी। इस दौरान तमाम विपक्षी नेता उनके प्रति एकजुटता दिखाने के लिए आंध्र भवन पहुंच सकते हैं। इसके साथ ही उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धमकी भरे लहजे में कहा कि अगर आप हमारी मांगें नहीं मानेंगे तो हमें मनवाना आता है। यह आंध्रप्रदेश के लोगों के स्वाभिमान का मामला है। जब भी वे हमारे स्वाभिमान पर हमला करेंगे हम उसे बर्दाश्त नहीं करेंगे। मैं यह सरकार खासतौर पर प्रधानमंत्री  को चेतावनी दे रहा हूं कि वो पर्सनल अटैक बंद करें। वहीं नायडू का साथ देने के लिए आंध्र भवन पहुंचे कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा, 'मैं आंध्र प्रदेश के लोगों के साथ खड़ा हूं। वह किस तरह के पीएम हैं? उन्होंने आंध्रप्रदेश के लोगों से किया वादा पूरा नहीं किया  गया। मोदी जी कहीं भी जाते हैं तो झूठ बोलते हैं। उनकी कोई विश्वसनीयता नहीं बची है।'
गौरतलब है कि  टीडीपी राज्य के बंटवारे के बाद आंध्र प्रदेश से किए गए 'अन्याय' का विरोध करते हुए पिछले साल एनडीए से बाहर हो गई थी। अपनी एक दिन की भूख हड़ताल के अगले दिन वह 12 फरवरी को राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद को एक ज्ञापन भी सौंपेंगे। मुख्यमंत्री अपने मंत्रियों, पार्टी के विधायकों, एमएलसी और सांसदों के साथ धरना देंगे। राज्य कर्मचारी संघों, सामाजिक संगठनों और छात्र संगठनों के सदस्य भी इसमें शामिल होंगे। 

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