नई दिल्ली। देश में कृषि कानून को लेकर किसान आंदोलन के रास्ते से भटकने के सवाल पर भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) प्रवक्ता और किसान नेता राकेश टिकैत ने का कहना है कि यह किसान आंदोलन था, किसान आंदोलन है और किसान आंदोलन ही रहेगा। एक टीवी कार्यक्रम में एंकर और राकेश टिकैत में खूब बहस हुई। एंकर ने टिकैत को घेरा तो उन्होंने एंकर से पूछ लिया आप सरकार में किस पद पर काम करते हैं?
एंकर ने कहा कि आप बताइए कि नए कानूनों में कहां लिखा है कि किसानों की जमीन वापिस ले ली जाएगी। यदि ऐसा हुआ तो मैं आपके साथ बैठकर आंदोलन करूंगी। राकेश टिकैत ने मोदी सरकार पर तंज कसते हुए कहा 2022 में किसानों की आमदनी दुगनी हो जाएगी। बस तीन महीने ही बचे हैं। गेहूं 4000 रुपए प्रति क्विंटल बिकेगा। चुनाव के समय में यूपी, चंडीगढ़ और पश्चिम बंगाल में यात्रा के सवाल को लेकर टिकैत ने कहा कि हम देश में कहीं भी जा सकते हैं। इस पर रोक नहीं लगाई जा सकती। आंदोलन की वजह से लोगों को होने वाली परेशानी के सवाल पर टिकैत ने कहा कि भारत सरकार ने लोगों को रास्ता रोकने का काम किया है। केंद्र जानबूझकर मामले को उलझा रहा है। उन्होंने कहा कि हमारे पूर्वज दिल्ली गए थे। हमें दिल्ली जाने से क्यों रोका जा रहा है।
उन्होंने कहा कि हमारी कोई राजनीतिक प्राथमिकताएं नहीं हैं। हम राज्यों-राज्यों घूम कर चुनाव प्रचार नहीं कर रहे हैं। हमारा प्रयास है कि किसानों को जागरूक किया जा सके, ताकि वे अपने हितों को समझ सकें। टिकैत ने कहा कि 12000 करोड़ रुपए का गन्ना बकाया मांगना गुनाह है? सबसे महंगी बिजली के सवाल उठाना गुनाह है क्या?
टिकैत ने कहा कि 5 सितंबर को एक बड़ी पंचायत मुजफ्फरनगर में आयोजित की गई है। राकेश टिकैत के पिछले महीने लखनऊ में किसान आंदोलन की धमकी दी थी। इसके बाद से यूपी भाजपा की तरफ से टिकैत पर पलटवार किया गया था। यूपी भाजपा ने एक कार्टून ट्वीट किया था जिसमें किसी का नाम नहीं लिखा गया था। भाजपा ने कार्टून ट्वीट कर कैप्शन दिया- ओ भाई, जरा संभलकर जाइयो लखनऊ में। सुना लखनऊ जा रहे हो तुम, किमें पंगा न लिए भाई। योगी बैठ्या है बक्कल तार दिया करे और पोस्टर भी लगवा दिया करे।
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सवालों से घिरे तो टिकैत को एंकर से पूछा आप सरकार में किस पद पर काम करते हैं?