
नई दिल्ली । टेक्सास में एक यहूदी प्रार्थना स्थल में चार लोगों को बंधक बनाने की घटना पर विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला ने शुक्रवार को कहा कि टेक्सास में हुई हालिया घटना बताती है कि अंतरराष्ट्रीय आतंकी नेटवर्क बहुत अधिक सक्रिय है और इसका केंद्र भारत के पड़ोस में है। उन्होंने कहा कि यह एक वैश्विक खतरा है जिससे निपटने के लिए स्पष्ट और सामूहिक कदम उठाने की आवश्यकता है।
टेक्सास में एक यहूदी प्रार्थना स्थल में चार लोगों को बंधक बनाने वाले ब्रिटिश नागरिक मलिक फैसल अकरम को एफबीआई ने मार गिराया था। अकरम ने पाकिस्तानी न्यूरोसाइंटिस्ट आफिया सिद्दीकी की रिहाई की मांग की थी। आफिया के संबंध आतंकवादी संगठन अलकायता के साथ होने का शक है।
भारत-यूरोपीय/जर्मन सहयोग की संभावना पर आयोजित एक संगोष्ठी को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने यह भी कहा कि भारत हिंद-प्रशांत क्षेत्र को एक मुक्त, खुले और समावेशी क्षेत्र के रूप में देखता है जो प्रगति और समृद्धि के एक साझा प्रयास में सभी को शामिल करता है।
विदेश सचिव ने कहा कि हमारे प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) ने इस विजन को एक शब्द 'सागर' (SAGAR) में समाहित किया है। इसका अर्थ है क्षेत्र में सभी के लिए सुरक्षा और विकास। उन्होंने कहा कि सागर का अर्थ कई भारतीय भाषाओं में समुद्र होता है। हम सबका साथ, सबका विकास में यकीन करते हैं।
श्रृंगला ने कहा, भारत का मानना है कि हमारी साझा समृद्धि और सुरक्षा के लिए हमें बातचीत के माध्यम से क्षेत्र के लिए एक सामान्य नियम-आधारित व्यवस्था विकसित करने की आवश्यकता है। इस तरह के आदेश को संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता के साथ-साथ सभी राष्ट्रों की समानता का सम्मान करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि समुद्री कानून के लिए अंतरराष्ट्रीय न्यायाधिकरण (आईटीएलओएस) के प्रति भारत का सम्मान और स्वीकार्यता दो पड़ोसी देशों बांग्लादेश और म्यांमार के साथ हमारी समुद्री सीमाओं के परिसीमन से स्पष्ट होता है। उन्होंने कहा कि सहयोग में विफलता आतंकवादियों को और मजबूत कर सकती है।
विदेश सचिव ने कहा कि विदेश मंत्री एस जयशंकर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में स्पष्ट रूप से कह चुके हैं कि आतंकवाद के किसी भी कृत्य के लिए कोई सफाई या अपवाद नहीं हो सकता है। श्रृंगला ने कहा कि यूरोप और हिंद-प्रशांत क्षेत्र मजबूत कारोबार और निवेश संबंधों से अच्छी तरह जुड़े हुए हैं।