
वसूली बढ़ाने के लिए एक और दांव
जीएसटी वसूली के दिसंबर महीने के लक्ष्य से चूकी सरकार ने अब आने वाले महीनों के लिए नए तरीके इस्तेमाल करने शुरू कर दिए हैं। वित्त मंत्रालय सूत्रों के अनुसार डाटा एनालिटिक्स के जरिए सरकार टैक्स वसूली के लक्ष्य पूरा करने का फैसला किया है। वित्त मंत्रालय में शुक्रवार को राजस्व सचिव की अध्यक्षता में हुई टैक्स विभाग की बैठक में एक अहम फैसला लिया गया है। बैठक में वसूली बढ़ाने के लिए डाटा एनालिटिक्ट के इस्तेमाल से नई रणनीति तैयार करने और इसके लिए संबंधित अधिकारियों की जिम्मेदारी तय करने को कहा है। देशभर टैक्स वसूली की मुहिम से जुड़ी गतिविधियों का हर हफ्ते अपडेट लिया जाएगा और उसकी समीक्षा की जाएगी। साथ ही विभाग के पास सिस्टम से रेड फ्लैड के जरिए आए तमाम सुरागों को भी खंगाला जाएगा और उनकी भी वसूली तेज की जाएगी। टैक्स रिटर्न फाइल में गड़बड़ी के चलते जीएसटी नंबर रेड फ्लैग जोन में चला जाता है। ऐसे तमाम रेड फ्लैग खातों पर भी सख्ती से कार्यवाही करने पर इस बैठक में चर्चा की गई है। सूत्रों के अनुसार सभी टैक्स अधिकारियों के सरकार की तरफ से अतिरिक्त प्रयास करने के निर्देश दिए हैं ताकि 13.35 लाख करोड़ रु का सालाना टैक्स वसूली का लक्ष्य हासिल किया जा सके। इसके लिए अधिकारियों को टैक्स चोरों और इनपुट टैक्स के नाम पर धोखाधड़ी करने वाले लोगों से सख्ती से निपटने के निर्देश दिए गए हैं। हालांकि अधिकारियों को ईमानदार टैक्सपेयर्स को परेशान न करने को भी कहा गया है।
- टैक्स वसूली में चुनौती
देश में हो रहे प्रदर्शनों के चलते टैक्स अधिकारियों को वसूली के काम में मुश्किलें आ रही हैं। जीएसटी वसूली से जुड़े एक अधिकारी ने हिंदुस्तान को ये भी बताया है कि जिस मात्रा में पुलिस बल की जरूरत होती है वो राज्य सरकारों से छापेमारी के लिए नहीं मिल पा रहा है। ऐसे में सरकार के लक्ष्य के लिए मुश्किलें बढ़ती जा रही है। दिसंबर महीने के लिए केंद्र सरकार ने 1.10 लाख करोड़ रुपये का जीएसटी कलेक्शन का लक्ष्य रखा था लेकिन सरकार की कमाई इस मोर्चे पर 1.03 लाख करोड़ ही हो पाई। पिछले महीने दिसंबर सहित मार्च तक हर महीने 1.10 लाख करोड़ रुपये टैक्स वसूली का टार्गेट दिया था। साथ ही कहा गया था कि किसी 4 महीनों में से किसी एक महीने में वसूली 1.25 लाख करोड़ तक पहुंचे।